‘दो मोती जल में घुल गए, सोने की 27 मोहरें खोई गई, चांदी और तांबे की जो हानि हुई उसका कोई अनुमान नहीं लगाया जा सकता’—यह किससे संबंधित है?
1) पानीपत के तृतीय युद्ध में मराठा सेना के विनाश से
2) प्रथम आंग्ल-मराठा युद्ध से
3) द्वितीय आंग्ल-मराठा युद्ध से
4) बेसीन की संधि से
1) पानीपत के तृतीय युद्ध में मराठा सेना के विनाश से